दोस्त की खूबसूरत मम्मी को गर्म करके चोदा- 1 Aunty sex story
हॉट देसी आंटी सेक्स कहानी में मैंने अपने दोस्त की मम्मी की चुदाई की. वे गाँव से शहर डॉक्टर को दिखाने आई तो मेरे कमरे पर रुकी. मेरी नीयत खराब हो गयी. यह स्टोरी आप पढ़ रहे हैं sexstoryqueen.com पर |
फ्रेंड्स,
मेरा घर का नाम बब्बी है. मेरी हाइट 5 फीट 11 इंच है.
मैं झारखंड के जमशेदपुर शहर का रहने वाला हूँ. Aunty sex story
मैं आपको अपनी और अपने दोस्त की मम्मी की चुदाई की सेक्सी कहानी सुनाने जा रहा हूँ.
यहहॉट देसी आंटी सेक्स कहानी उस समय की है जब मैं अपनी पढ़ाई खत्म करके रांची में जॉब कर रहा था.
मेरे दोस्त का नाम अनूप है, वह मेरा बचपन का दोस्त है.
वह अभी अपनी पढ़ाई उड़ीसा में कर रहा है और वहीं रहता है. Aunty sex story
एक दिन उसने मुझे शाम को कॉल किया और बोला- यार बब्बी, मेरी मम्मी को रांची के एक डॉक्टर (स्किन स्पेशलिस्ट) से अपॉइंटमेंट मिला है. क्या तू थोड़ा मैनेज कर पाएगा? मेरा अभी एग्जाम चल रहा है, तो मैं फ्री नहीं हो पाऊंगा और पापा की ट्रेनिंग की क्लासेस चल रही हैं.
उसके पापा गवर्नमेंट टीचर हैं. Aunty sex story
मैंने कहा- अरे हां यार … हो जाएगा. उसमें क्या है. तेरी मम्मी मतलब मेरी मम्मी!
उस समय तक मेरे दिमाग में कोई गलत नीयत नहीं थी.
उसने थैंक्स कहा.
मैंने पूछा- अरे थैंक्स छोड़ो, तुम बस यह बताओ कि करना क्या है?
तो वह बोला- कल सुबह मम्मी और मेरी बहन तेरे पास आ जाएंगी. तू उनके साथ डॉक्टर के पास चला जाना और चेकअप के बाद उन्हें बस में बैठा देना. Aunty sex story
मैंने कहा- ठीक है … सब हो जाएगा, तू टेंशन मत ले यार!
मैंने तुरंत अपनी कंपनी में एक दिन की छुट्टी की एप्लिकेशन डाल दी.
वैसे भी मेरी छुट्टियां बाकी चल रही थीं तो मैं खुद ही सोच रहा था कि किस तरह से अपनी छुट्टियों का उपयोग करूं. Aunty sex story
मेरे दोस्त की मम्मी का डॉक्टर से सुबह 11 बजे का अपॉइंटमेंट था.
तो मैं रात में जल्दी सो गया ताकि अगले दिन सुबह से डॉक्टर के क्लीनिक का चक्कर लगाया जा सके.
सुबह उठते ही दोस्त ने कॉल करके कहा कि मम्मी रांची बस स्टैंड पर सुबह 9 बजे तक पहुंच जाएंगी. उन्हें पिकअप करके अपने रूम ले जाना और टाइम पर डॉक्टर से चेकअप करवा देना. Aunty sex story
उसने जिस डॉक्टर का नाम बताया था, उस डॉक्टर का क्लीनिक बिल्कुल मेरे रूम के सामने ही था.
मैं सुबह नहा-धोकर फ्रेश होकर आंटी और दोस्त की बहन को लेने बस स्टैंड चला गया.
मेरे पहुंचने के 15 मिनट बाद ही उनकी बस आ गई. Aunty sex story
बस से उतरते ही आंटी ने मेरे नंबर पर कॉल करके मुझे बुला लिया.
मेरे दोस्त ने ही मेरा नंबर उन्हें दिया था.
मैं दोस्त की मम्मी और उसकी बहन को लेकर अपने रूम चला गया.
मेरा एक सिंगल बैचलर रूम था, जिसमें सिर्फ़ एक ही बेड था.
मैंने उन्हें बेड पर बैठने को कहा और दोस्त को कॉल करके बता दिया कि तेरी मम्मी और बहन सही सलामत मेरे रूम पहुंच गई हैं. Aunty sex story
उनके आने के बाद पता चला कि आंटी को पूरे स्किन में एलर्जी की समस्या थी इसलिए वे चेकअप के लिए आई थीं.
उन्होंने उस डॉक्टर के बारे में बहुत कुछ सुना था इसलिए आज दिखाने आई थीं.
आते ही वे मुझसे मेरे काम के बारे में पूछने लगीं.
फिर बातों ही बातों में मैंने उन्हें नाश्ता आदि करवाया. Aunty sex story
समय होते ही हम डॉक्टर के पास चल दिए.
लेकिन उस दिन डॉक्टर टाइम पर नहीं आए.
इंतज़ार करते-करते दोपहर के 2 बज गए. फिर काउंटर से खबर मिली कि डॉक्टर आज नहीं आ पाएंगे और सारे अपॉइंटमेंट अब कल सुबह 6 बजे होंगे.
मैंने आंटी से कहा- आंटी अगर आप आज शाम को घर चली जाएंगी, तो कल सुबह 6 बजे आप लोग वापस नहीं पहुंच पाएंगी. यदि आपको कोई दिक्कत न हो, तो आप आज मेरे रूम पर रुक सकती हैं. वैसे भी आंटी मैं तो आपके बेटे जैसा ही हूँ ना! Aunty sex story
साथ ही मैंने दोस्त से बात करने की बात भी कही.
मैंने अपने दोस्त को सारी बात बताई, तो वह बोला- यार तुझे कोई तकलीफ तो नहीं होगी ना?
मैंने कहा- अरे पागल है क्या … तू टेंशन क्यों लेता है! तेरी मम्मी तो मेरी भी मम्मी हुई ना … उसमें टेंशन कैसा! Aunty sex story
फिर मैंने आंटी से कहा- मैंने अनूप से बात कर ली है. वह भी बोल रहा था कि आज यहीं रुक जाइए, कल चेकअप करवा ही लीजिएगा.
इधर मैं आपको आंटी के बारे में कुछ बता देता हूँ.
उनका नाम अनुजा है, उनकी हाइट 5 फीट 2 इंच है और उनकी बहन का नाम दिव्या है. उसकी हाइट 5 फीट 4 इंच है. Aunty sex story
सबसे पहले मैंने आंटी से कहा- चलिए पहले कुछ खाना खा लेते हैं. बहुत भूख लग रही है.
उन्होंने भी तुरंत जवाब दिया- हां चलो. सुबह से कुछ खाया भी नहीं है. पहले खाना खा लेते हैं.
फिर मैं उन्हें एक अच्छे रेस्तरां में लंच करवाने के लिए ले गया.
लंच करते वक्त आंटी ने कहा- मैं तो रात के लिए कुछ एक्स्ट्रा कपड़े भी नहीं लाई. अब तो कुछ शॉपिंग करनी पड़ेगी. Aunty sex story
मैंने तुरंत जवाब दिया- हां ठीक है. आप अभी लंच कर लीजिए, शाम को चलकर शॉपिंग कर आएंगे.
हम सबने लंच खत्म किया और रूम पर आकर थोड़ा आराम किया.
आंटी और दिव्या बेड पर बैठकर बातें कर रही थीं और मैं कुर्सी पर बैठा हुआ था.
तभी आंटी बोलीं- यहां तो एक ही बेड है. तुम हमारा बिस्तर नीचे लगा देना, हम दोनों नीचे सो जाएंगी. Aunty sex story
मैंने तुरंत मना किया- अरे नहीं आंटी. आप लोग ऊपर सो जाइए. मैं यहां नीचे सो जाऊंगा … कोई दिक्कत नहीं है.
लेकिन आंटी को देखते हुए और उनसे बातें करते हुए पता नहीं क्यों, मैं उन्हें ताड़ने लगा था.
मेरी नीयत बिगड़ रही थी. Aunty sex story
मैं बार-बार उनके गोरे जिस्म और उनके ब्लाउज़ के पीछे छुपे चूचों को देखे जा रहा था.
इसी दौरान मेरा लंड भी मेरे पैंट में तंबू बनने लगा था.
फिर मैंने गौर किया कि आंटी की नजर भी मेरे पैंट पर थी.
मैंने जल्दी से हाथ से अपने पैंट को एडजस्ट किया.
आंटी को देखकर मैं अपने आप को कंट्रोल ही नहीं कर पा रहा था. मन तो कर रहा था कि उन्हें अभी पटक कर चोद दूँ. Aunty sex story
बार-बार उनके पल्लू के पीछे छुपे बूब्स मुझे आकर्षित कर रहे थे.
जब मैंने गौर से उनके ब्लाउज़ को देखा, तो मुझे उनकी ब्रा भी दिख रही थी.
उसी वक्त मैंने सोचा- आज कुछ भी हो जाए, इन्हें तो चोदना ही पड़ेगा!
मैं यही सब सोच रहा था कि आंटी ने कहा- चलो मुझे कुछ शॉपिंग करनी है.
बस हम सब मॉल की तरफ चल दिए. Aunty sex story
मॉल पहुंच कर हम लेडीज़ गारमेंट्स सेक्शन में गए.
मैं बाहर रुक कर एक कुर्सी पर बैठ गया और अन्दर का सब देख रहा था.
तभी मैंने देखा कि आंटी ने एक नाइटी ली और उनकी बेटी ने भी एक नाइटी ड्रेस ले ली.
दोनों ने एक-एक सैट ब्रा और पैंटी भी खरीद ली.
शॉपिंग खत्म होने के बाद हम काउंटर पर पहुंचे.
मैंने कहा- मैं पेमेंट कर देता हूँ. Aunty sex story
लेकिन आंटी ने तुरंत कहा- नहीं, मैं कर दूँगी.
उन्होंने मुझे दूर जाने के लिए बोल दिया.
मैंने दूर से देख लिया कि उन्होंने ब्रा और पैंटी भी ली थी, जिसे वे बताना नहीं चाहती थीं शायद … इसलिए मुझे जाने को कहा होगा. Aunty sex story
खैर … शॉपिंग के बाद हमने समोसा और चाट का नाश्ता किया और फिर रूम पर आ गए.
आते ही मैंने उनसे कहा- कल सुबह जल्दी उठना है,तो हम सब आज जल्दी सो जाएंगे.
वे हां में सर हिलाने लगीं.
मैंने बोला- आप लोग जल्दी से चेंज करके फ्रेश हो जाओ. मैं तब तक रात के लिए कुछ अच्छा सा खाना लेकर आता हूँ. Aunty sex story
मैं रूम से बाहर चला गया.
पहले तो मैंने जाते ही अपनी तलब मिटाने के लिए एक सिगरेट जलाई और सिगरेट पीते हुए आज रात आंटी को चोदने की प्लानिंग करने लगा.
फिर मैं एक बगल के मेडिकल स्टोर में जाकर दो वियाग्रा की गोलियां और कुछ दूसरी मतलब की दवाएं ले लीं. Aunty sex story
मेडिकल स्टोर से निकलते ही मेरा दिल जोरों से धड़कने लगा.
मुझे डर तो लग ही रहा था लेकिन आंटी को देखकर चोदने का मन भी था.
फिर मैं उसी रेस्तरां में गया और रात का खाना पैक करवाया क्योंकि आंटी को वहां का खाना बहुत पसंद था.
साथ ही मैंने एक बड़ी वाली कोल्ड ड्रिंक की बोतल भी रख ली. Aunty sex story
रूम में आते ही मैं दोनों को देखकर सुन्न हो गया.
अनुजा आंटी नई नाइटी में क्या गजब की माल लग रही थीं.
मैं तो बस उन्हें देखता ही रह गया.
तभी आंटी ने टोका- क्या देख रहे हो? Aunty sex story
मैंने कहा- मैं तो बस थोड़ी देर के लिए बाहर गया था और आप लोग तो पूरी तरह चेंज हो गईं!
आंटी ने हंस कर जवाब दिया- हां रात के लिए सोचा कि क्या लूँ, तो ये ले लिया. दिव्या ने भी ये वाली नाइट ड्रेस ली है … अच्छी है न!
मैंने भी उनकी हां में हां मिलाते हुए बोला- हां दोनों की नाइट ड्रेस बहुत अच्छी लग रही है.
यह एकदम सच था कि वे दोनों न केवल अच्छी लग रही थीं बल्कि कयामत माल लग रही थीं.
आंटी के उठे हुए मम्मों को देखकर तो मन कर रहा था कि उन्हें अभी खाना खाने के पहले ही एक बार चोद लूँ … फिर बाद में खाने का देखा जाएगा. Aunty sex story
उनकी नाइटी के अन्दर ब्रा से बाहर निकलते बूब्स देखकर मुझसे कंट्रोल ही नहीं हो रहा था.
जैसे-तैसे खुद को संभाला और मैंने आंटी को खाना लगाने के लिए कहा.
मैं उन्हें देख कर खुद को रोक नहीं पा रहा था तो फ्रेश होने के बहाने से बाथरूम में चला गया.
उधर लंड सहला कर हिलाकर खुद को शांत किया और हाथ-मुँह धोकर मैंने एक हाफ पैंट व टी-शर्ट पहन ली. Aunty sex story
फिर मैं खाने के लिए आ गया.
मैंने खाने के लिए रोटी और मिक्स्ड वेज पैक करवा लिया था.
आंटी ने सबके लिए अलग-अलग प्लेट में खाना लगाया था.
हम सब नीचे बैठकर खाना खाने लगे.
मुझे तो बड़ा अजीब लग रहा था. Aunty sex story
पहली बार मैं ऐसी सिचुएशन में था कि खाना क्या खाऊंगा, मेरे सामने दो-दो हॉट लेडीज़ बैठी थीं, वे भी हॉट नाइट ड्रेस में … दोनों ही गजब की माल लग रही थीं.
आंटी की बेटी दिव्या भी शायद 19 साल की होगी और सच में वह तो इसी उम्र में गजब का माल लग रही थी.
उसके दूध छोटे थे तो मेरी नजर आंटी के मम्मों पर चिपकी हुई थी. मेरी नजर तो आंटी से हट ही नहीं रही थी. Aunty sex story
मैं बस यही सोच रहा था कि आंटी की चुदाई के चक्कर में कहीं कोई गड़बड़ न हो जाए.
यदि कुछ भी गड़बड़ हुई तो बहुत बड़ी बदनामी हो जाएगी और दोस्ती भी खराब हो जाएगी.
यह सोचते ही मैंने खाने पर ध्यान देना शुरू कर दिया.
खाना खत्म करके मैंने आंटी के लिए बेड पर बिस्तर लगा दिया और अपने लिए नीचे बिछा लिया.
आंटी बार-बार कह रही थीं कि वे दोनों नीचे सो जाएंगी, लेकिन मैं उन्हें नीचे कैसे सोने देता.
वे मेरे घर मेहमान थीं. Aunty sex story
मैंने कहा- नहीं आप लोग ऊपर ही रहो. मैं नीचे सो जाऊंगा. बस रात भर की तो बात है.
आखिर वे मान गईं.
अब बारी थी मेरे काम को अंजाम देने की.
मैं किचन में गया और तीन ग्लास में कोल्ड ड्रिंक निकाली.
मैंने अपने और आंटी के ग्लास में एक वियाग्रा की एक एक गोली डाल दी और दिव्या के ग्लास में एक स्लीपिंग पिल डालकर अच्छे से मिलाकर बाहर लाकर सर्व कर दिया.
मैंने आंटी से बोला कि इसे पी लीजिए … खाना अच्छे से हजम हो जाएगा … लीजिए आंटी कोल्ड ड्रिंक ले लीजिए. Aunty sex story
सबने अपना-अपना ग्लास लेकर कोल्ड ड्रिंक पी लिया.
उसके बाद तो मेरी खुशी का ठिकाना ही नहीं था.
खुशी तो थी, लेकिन डर भी बहुत लग रहा था.
सबके कोल्ड ड्रिंक पी लेने के बाद लाइट ऑफ करके नाइट बल्ब जलाया और सो गए.
मैं सही मौके का इंतज़ार करने लगा और चुपचाप सोए रहने का नाटक करने लगा.
करीब आधा घंटा बाद जब दवाई का पूरा असर हो गया तो मुझे आंटी के पास से कुछ हलचल सुनाई दी. Aunty sex story
वे थोड़ी बेचैन लग रही थीं.
रूम में पंखा चल रहा था, फिर भी उन्हें पसीना आ रहा था.
मैं समझ गया कि दवाई काम कर रही है.
देखते ही देखते उनके पूरे शरीर पर उनका हाथ चलने लगा था.
वे ढंग से सो भी नहीं पा रही थीं और बार-बार उनका हाथ उनके स्तनों पर ही जा रहा था.
उन्होंने फिर अपनी नाइटी की डोरी को भी खोल दिया.
डोरी खोलते ही उनके ऊपर से नाइटी शरीर के दोनों तरफ से खुल गई और अन्दर सिर्फ़ ब्रा पैंटी दिखने लगी. Aunty sex story
मैं तो डर भी रहा था और खुश भी हो रहा था कि दवाई काम कर गई.
मेरा लंड भी तंबू बनाकर खड़ा हो गया था.
अचानक आंटी बेड पर उठकर बैठ गईं.
उनकी खुली हुई नाइटी के कारण ब्रा में कैद उनके दूध मस्त दिख रहे थे.
आधे से ज्यादा चूचे तो बाहर को ही निकलने को बेचैन नजर आ रहे थे.
बस निप्पल नहीं दिख रहे थे. Aunty sex story
मैं अधखुली आंखों से उनके दूध दर्शन का लाभ ले रहा था.
उन्हें उठ कर बैठते ही मैंने तुरंत अपनी आंखें आधी बंद कर लीं.
उनकी नज़र मेरे पैंट में बने तंबू पर पड़ी.
फिर मैंने ध्यान से उनकी नजरों को देखा तो पाया कि आंटी तो मेरे लंड को ही देख रही थीं.
मुझे लगा कि आज पक्के में काम बन जाएगा, क्योंकि उनकी बेटी तो गहरी नींद में सो गई थी.
फिर हॉट देसी आंटी उसी अधनंगी हालत में हिलती-डुलती बाथरूम की ओर चल दीं.
जब कुछ देर तक वे बाथरूम से नहीं लौटीं तो मुझे चिंता हुई कि कहीं आंटी बाथरूम में गिर न गई हों. Aunty sex story
मैं तुरंत जाकर देखने गया.
मैंने चुपके से अन्दर झांककर देखा, मुझे विश्वास नहीं हुआ कि आंटी ऐसा भी करेंगी.
मैंने देखा कि आंटी की नाइटी वैसी ही थी लेकिन उन्होंने अपनी पैंटी नीचे खिसका दी थी और वे अपनी चुत में उंगली कर रही थीं.
वे साथ में कामुक सिसकारियां भी ले रही थीं.
उनके मुँह से सिर्फ़ ‘आह्ह … सी … सी … आइ … मर गई.’ की आवाज़ें निकल रही थीं.
उन्हें देखते ही मेरे होश उड़ गए और मेरा लंड तुरंत खड़ा हो गया.
मैं मन ही मन में सोचने लगा कि यही सही मौका है, जब मुझे आंटी को पकड़ कर चोद देना चाहिए. Aunty sex story
दोस्तो, अगले भाग में मैं आपको बताऊंगा कि मैंने आंटी को अपने लंड के नीचे किस तरह से लाकर उन्हें उनकी मर्जी से हचक कर चोदा.
आपके जबाव मुझे उत्साहित करेंगे … इसलिए प्लीज आप हॉट देसी आंटी सेक्स कहानी पर मुझे अपने विचार जरूर भेजें. Aunty sex story